मजदूरों के हक के लिए आंदोलन चलाने वाली अनसूया साराभाई का 132th BirthDay | Alienture हिन्दी

Breaking

Post Top Ad

X

Post Top Ad

Recommended Post Slide Out For Blogger

Saturday, 11 November 2017

मजदूरों के हक के लिए आंदोलन चलाने वाली अनसूया साराभाई का 132th BirthDay

मजदूरों के हक के लिए आंदोलन चलाने वाली अनसूया साराभाई का आज 132th BirthDay है। अनसूया द्वारा समाज के लिए अच्छे काम किए गए थे जिसे ध्यान में रखते हुए गूगल ने उनके सम्मान में उनका डूडल बनाया है। भारत में वुमन्स लेबर मोवमेंट चलाने के लिए अनसूया साराभाई का नाम जाना जाता है। साल 1920 में अनसूया ने अहमदाबाद टेक्सटाइल लेबर एसोसिएशन (मजूर महाजन संघ) का गठन किया था, जो कि भारत का सबसे पुराना टेक्सटाइल कर्मचारियों का संगठन है। मोटाबेन (गुजराती में बड़ी बहन को इस नाम से संबोधित किया जाता है) के नाम से जानी जाने वाली अनसूया का जन्म अहमदाबाद में 1885 में हुआ था।

अनसूया जब 9 साल की थीं तब उनके माता-पिता की मृत्यु हो गई थी। माता-पिता की मृत्यु के बाद अनसूया के अंकल ने 13 साल की उम्र में उनकी शादी करा दी थी। शादी के कुछ समय बाद उन्होंने अपने पति को तलाक दे दिया और वे अपने घर वापस आ गईं। 1912 में अनसूया अपनी पढ़ाई पूरी करने के लिए इंग्लैंड चली गई, जहां से उनकी जिंदगी में एक नया मोड़ आया। यहां उनकी मुलाकात जॉर्ज बरनार्ड शॉ, सिडनी वेब्ब जैसे लोगों से हुई, जिन्होंने मार्क्सवाद के क्रांतिकारी सिद्धांतों को सिरे से खारिज कर समाजवादी समाज की सिफारिश की थी। इन लोगों से मुलाकात के बाद अनसूया ने समाजिक समानता जैसे मुद्दों को ध्यान में रखते हुए अपनी सेवा दी।

भारत वापस आने के बाद अनसूया ने प्रत्येक जाति के बच्चों के लिए स्कूल खोला और महिलाओं के लिए शौचालय बनवाए। लेबर मोवमेंट के पीछे अनसूया का अपना निजी अनुभव रहा है। एक घटना का वर्णन करते हुए उन्होंने खुद एक बार कहा था कि “एक सुबह मैं बाहर कंपाउंड में बैठकर बच्चों के सिर में कंघी मार रही थी, कि तभी मैंने देखा कि 15 मजदूरों का एक समूह वहां से गुजर रहा था, जो कि काफी थका हुआ लग रहा था। मैं उन्हें जानती भी नहीं थी लेकिन फिर भी मैंने उन्हें बुलाया और पूछा कि क्या हुआ है? तुम लोग इतने उदासीन क्यों दिख रहे हो? उन्होंने मुझसे कहा ‘बहन’ हम 36 घंटे काम करके लौट रहे हैं। बिना किसी आराम के हमने दो रात और दिन काम किया है और अब हम अपने घर जा रहे हैं”। उन लोगों की बात ने मुझे झकझोर कर रख दिया। यह गुलामी महिला मजदूरों के लिए भी अलग नहीं थी।

मजदूरों के हितों को ध्यान में रखते हुए अनसूया ने उनके लिए कुछ कार्य करने का निर्णय लिया। 1914 में उन्होंने मजदूरों को संगठित करने में मदद की और फिर 1918 में मजदूरों के हित के लिए एक महीने तक हड़ताल चली, जिसमें वे खुद भी शामिल थीं। टेक्सटाइल मजदूर अपनी मजदूरी में 50 प्रतिशत बढ़ोतरी की मांग कर रहे थे क्योंकि उन्हें केवल 20 प्रतिशत दिया जा रहा था। इस हड़ताल के बाद उन्हें 35 प्रतिशत मजदूरी मिलने लगी। मजदूरों को उनका हक दिलाने के लिए अनसूया ने बहुत मेहनत की थी, जिसके कारण आज भी लोग उनका बहुत सम्मान करते हैं और उनके जन्मदिन के मौके पर उन्हें श्रद्धांजलि दे रहे हैं।
-एजेंसी

The post मजदूरों के हक के लिए आंदोलन चलाने वाली अनसूया साराभाई का 132th BirthDay appeared first on Legend News: Hindi News, News in Hindi , Hindi News Website,हिन्‍दी समाचार , Politics News - Bollywood News, Cover Story hindi headlines,entertainment news.

No comments:

Post a Comment

Post Top Ad