नासिक (महाराष्ट्र)। महाराष्ट्र में पेट्रोल पर वैट घटाने के एक दिन बाद मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस ने यहां शुक्रवार को कहा कि डीजल की कीमतों में भी 4 रुपये प्रति लीटर तक की कमी की जाएगी। यहां मीडिया से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा पेट्रोल की कीमत में 2.50 रुपये प्रति लीटर वैट की कटौती का लोगों ने बड़े पैमाने पर स्वागत किया है।
फडणवीस ने कहा, “हम अब डीजल की कीमतों में प्रति लीटर 4 रुपये तक की कमी लाने के लिए फार्मूले पर काम कर रहे हैं। सरकार लोगों के हित के लिए घाटा सहेगी।“
गुरुवार को, केंद्र द्वारा पेट्रोल-डीजल की कीमतों में कमी के बाद महाराष्ट्र और कम से कम 10 राज्यों ने पेट्रोल पर कई स्थानीय करों जैसे वैट में कटौती की थी।
महाराष्ट्र ने हालांकि केवल पेट्रोल पर वैट में कटौती की, जिसके बाद सरकार की आलोचना हुई कि वह समाज के समृद्ध लोगों के हितों के लिए काम कर रही है।
राज्य और केंद्र सरकार द्वारा पेट्रोल की कीमतों में कमी करने के बाद महाराष्ट्र में शुक्रवार सुबह 6 बजे पेट्रोल की कीमत में प्रति लीटर 4.37 रुपये की कमी दर्ज की गई। सरकार ने यहां प्रति लीटर पांच रुपये की कीमत में कमी करने का आश्वासन दिया था। महाराष्ट्र में किसी भी राज्य के मुकाबले ईंधन की कीमत सबसे ज्यादा है।
महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष अशोक चह्वाण ने कहा कि पेट्रोल में फडणवीस द्वारा प्रति लीटर पांत रुपये की कमी के आश्वसान दिया गया था, लेकिन जब शुक्रवार सुबह पेट्रोल पंप खुले तो पेट्रोल की कीमत में प्रति लीटर 4.37 रुपये की ही कमी की गई।
चह्वाण ने कहा, “यह लोगों के साथ धोखा है। आपने पहले पेट्रोल की कीमत में पांच रुपये प्रति लीटर कमी करने का आश्वासन दिया, जबकि यहां पेट्रोल की कीमत में केवल 4.37 रुपये की कमी हुई..यह और कुछ नहीं भाजपा सरकार का प्रोपेगेंडा है।“
फेडरेशन ऑफ ऑल महाराष्ट्र पेट्रोल डीलर्स एसोसिएशन (एफएएमपीईडीए) के चेयरमैन उदय लोध ने पेट्रोल की कीमतों में कमी का स्वागत किया और कहा कि वैश्विक स्तर पर कच्चे तेल की कीमतों के आधार पर, तेल विपणन कंपनियों द्वारा रोजाना आधार पर ईंधन की कीमतों में वृद्धि जारी रहेगी।
लोध ने कहा, “इसके अलावा, गुजरात ने पेट्रोल व डीजल दोनों की कीमतों में प्रति लीटर 2.50 रुपये की कमी की है, जबकि महाराष्ट्र ने केवल पेट्रोल पर 2.50 रुपये की वैट में कटौती की है। इसलिए डीजल व्यापार अब गुजरात की और स्थानांतरित होगा, खासकर उन क्षेत्रों में जो इसकी सीमाओं के करीब हैं।“
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