नई दिल्ली। प्रधानमंत्री मोदी अपने एक्ट ईस्ट पॉलिसी को और धार देने के लिए आज से 5 दिनों के विदेश दौरे पर जा रहे हैं। प्रधानमंत्री अपने इस विदेश दौरे के दौरान मलेशिया, इंडोनेशिया और सिंगापुर जाएंगे। इंडोनेशिया, सिंगापुर और मलेशिया दौरे पर रवाना होने से पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि इन तीनों देशों के साथ भारत के मजबूत संबंध हैं और उनके दौरे से देश की एक्ट ईस्ट नीति को और बढ़ावा मिलेगा। प्रधानमंत्री मोदी का यह इंडोनेशिया का पहला और सिंगापुर का दूसरा दौरा है। उनकी इन दोनों देशों की यात्रा का उद्देश्य रक्षा और व्यापार सहित विभिन्न महत्वपूर्ण क्षेत्रों में इंडोनेशिया तथा सिंगापुर के साथ भारत के रिश्तों को और अधिक मजबूत करना है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इंडोनेशिया से सिंगापुर जाते समय बृहस्पतिवार को कुछ देर के लिए कुआलालंपुर में रुकेंगे जहां उनकी मुलाकात मलेशिया के नवनिर्वाचित प्रधानमंत्री महातिर मोहममद से होगी। प्रधानमंत्री मोदी का पहला पड़ाव इंडोनेशिया होगा जहां से वह गुरुवार को सिंगापुर जाएंगे। विदेश मंत्रालय ने कहा है कि PM मोदी मलेशिया के नवनिर्वाचित प्रधानमंत्री डॉ महातिर मोहम्मद से मिलने के लिए 31 मई को कुछ देर कुआलालंपुर में रुकेंगे। आपको बता दें कि महातिर मोहम्मद ने 10 मई को मलेशिया के प्रधानमंत्री पद की शपथ ली थी।
सिंगापुर में वह वार्षिक सुरक्षा सम्मेलन शांगरी ला वार्ता को एक जून को संबोधित करेंगे। उन्होंने कहा कि पहली बार कोई भारतीय प्रधानमंत्री इस सम्मेलन को संबोधित करेगा। क्षेत्रीय सुरक्षा मुद्दों पर यह भारत के विचारों को व्यक्त करने का अवसर होगा। फेसबुक पेज पर जारी बयान में प्रधानमंत्री ने कहा कि ‘इंडोनेशिया के राष्ट्रपति जोको विडोडो के निमंत्रण पर बुधवार को वह जकार्ता में होंगे। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के रूप में यह मेरी पहली इंडोनेशिया यात्रा है। राष्ट्रपति विडोडो के साथ 30 मई को विचार-विमर्श होगा। साथ ही भारत-इंडोनेशिया सीईओ के फोरम में हमारा संयुक्त वार्तालाप होगा। मैं इंडोनेशिया में भारतीय समुदाय को भी संबोधित करूंगा। उन्होंने कहा कि 31 मई को सिंगापुर जाते समय थोड़े समय के लिए मलेशिया में रुकेंगे जहां मलेशिया के नये नेतृत्व को बधाई देंगे और प्रधानमंत्री महातिर मोहम्मद से मुलाकात करेंगे।’
प्रधानमंत्री एक जून को सिंगापुर के राष्ट्रपति हलीमा याकूब से मुलाकात करेंगे और सिंगापुर के प्रधानमंत्री ली के साथ प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता करेंगे। दो जून को क्लीफोर्ड पियर में एक पट्टिका का अनावरण करेंगे जहां 27 मार्च 1948 को गांधीजी की अस्थितयों का विसर्जन किया गया था।मोदी सरकार ने भारत की एक्ट ईस्ट नीति को शुरू किया था जिसका उद्देश्य एशिया प्रशांत क्षेत्र में ध्यान केंद्रित करना है।
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