पुलिस ने खेली डकैती की होली, दो दारोगा निलंबित | Alienture हिन्दी

Breaking

Post Top Ad

X

Post Top Ad

Recommended Post Slide Out For Blogger

Saturday, 9 March 2019

पुलिस ने खेली डकैती की होली, दो दारोगा निलंबित

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के डीजीपी ओपी सिंह जहां एक ओर ईमानदार पुलिस कर्मियों को पुरस्कृत कर उनकी छवि को बेहतर बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं। बीते वर्ष पुलिस की गोली के शिकार हुए एप्पल कंपनी के मैनेजर विवेक तिवारी की हत्या को लोग भूल भी नहीं पाये थे कि गोसाईगंज के दो दारोगाओं ने साथियों संग मिलकर एक मौरंग कारोबारी के घर लूटपाट कर भष्टïाचार की होली खेल ली। दारोगाओं ने साथियों के साथ असलहे के दम पर तीन करोड़ 38 लाख रुपए की लूटपाट की। वहीं वारदात को ब्लैकमनी बरामद करने का रूप दे दिया, जिसमें से एक करोड़ 85 लाख रुपए निगती के दौरान गायब मिले। इसका खुलासा तब हुआ जब एक मंत्री ने एसएसपी को फोन कर रुपयों के गायब होने की जानकारी दी। जिसके बाद एसएसपी ने एसपी ग्रामीण को मौके पर भेजकर जांच कराई तो सच्चाई सामने आई। एसएसपी ने दोनों दारोगाओं समेत आठ लोगों के खिलाफ डकैती का मुकदमा दर्ज कर दोनों को निलंबित कर दिया है।

सुल्तानपुर के कोयला व मौरंग कारोबारी अंकित अग्रहरी अपने कुछ करीबियों के साथ लखनऊ के गोसाईंगंज सरसवा स्थित ओमेक्स रेजीडेंसी आर-01 बिल्डिंग टूलिप-ई लैट नंबर-104 में रुके हुए थे। शनिवार की सुबह करीब सात बजे गोसाईंगंज थाने के दो दारोगा उपनिरीक्षक पवन मिश्रा , उपनिरीक्षक आशीष तिवारी मुखबिर व एक अधिवक्ता साथी के साथ गार्ड को कब्जे में लेकर दरवाजे पर आवाज देकर अन्दर दाखिल हुए। दोनों दारोगा, अधिवक्ता मधुकर मिश्रा व अन्य साथियों के साथ फ्लैट पर तथाकथित छापेमारी की, जहां से करीब तीन करोड 38 लाख रुपए, एक पिस्टल, कारतूस व अन्य सामान मिला। मौके से पुलिस ने कारोबारी अंकित अग्रहरी, सुल्तानपुर निवासी अश्वनी पांडेय, गोसाईंगंज बल्दीखेड़ा निवासी अभिषेक वर्मा, अमेठी निवासी अभिषेक सिंह, ग्वालियर निवासी सचिन, जितेन्द्र सिंह और फैजाबाद रुदौली निवासी कुलदीप को पकड़कर थाने ले आयी। इसी बीच वकील व मुखबिर मधुकर मिश्रा अपने साथियों के साथ गायब हो गया। पुलिस ने थाने पर आकर बरामद रकम में महज एक करोड़ 85 लाख रुपए ही दिखाए जबकि एक करोड़ 53 लाख रुपए गायब कर दिए गए। यह जानकारी होते ही कारोबारी अंकित अग्रहरी ने हंगामा शुरू कर दिया। जिसे पुलिसकर्मियों ने डपट कर शांत कराया। इसी बीच आयकर विभाग को भी जानकारी देकर थाने पर बुलाया गया, तभी कारोबारी ने अपने करीबी एक मंत्री को रुपयों के गायब होने की जानकारी दी। जिस पर मंत्री ने प्रकरण में एसएसपी को फोन कर पूरी जानकारी दी। जिस पर शक होने पर एसएसपी कलानिधि नैथानी ने एसपी ग्रामीण विक्रांत वीर को मौके पर भेजा। फ्लैट के आसपास लगे सीसीटीवी फुटेज खंगालने पर जानकारी हुई कि मधुकर मिश्रा एक बैग लेकर भाग खड़ा हुआ है। एसपी ग्रामीण ने छानबीन के बाद पूरे प्रकरण से एसएसपी को अवगत कराया। जिसके बाद एसएसपी के निर्देश पर कारोबारी अंकित से तहरीर लेकर उपनिरीक्षक पवन मिश्रा, उपनिरीक्षक आशीष तिवारी, वकील मधुकर मिश्रा समेत आठ लोगों के खिलाफ विभिन्न धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई है। इस मामले में दोनों पुलिसकर्मियों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है। फिलहाल फरार मधुकर की गिरफ्तारी के लिए क्राइम ब्रांच समेत अन्य टीमें छापेमारी कर रही है।

सीसीटीवी में वारदात कैद
सूत्रों की मानें तो करोड़ से अधिक रुपए गायब होने की सूचना पर जब दोनों पुलिसकर्मियों पवन व आशीष से एसपी ग्रामीण ने पूछताछ की तो उन्होंने रकम के बारे में साफ इंकार कर दिया, जिसके बाद सीसीटीवी फुटेज दिखाए जाने पर वह चुप हो गए। सीसीटीवी फुटेज में शेष रकम मधुकर मिश्रा बैग में लेकर जाते दिखा है। जिसमें बताया जा रहा है कि बाकी के रूपये थे।

No comments:

Post a Comment

Post Top Ad