केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (CBDT) ने अपनी एक अधिसूचना में कहा है कि सालाना पांच लाख रुपये तक की कर योग्य आय वाले वरिष्ठ नागरिक अब बैंकों और डाकघरों में जमा राशि पर मिलने वाली ब्याज आय पर स्रोत पर कर कटौती (TDS) से छूट के लिये फॉर्म 15H जमा करवा सकते हैं। इससे पहले स्रोत पर कर कटौती (TDS) की यह सीमा इससे पहले ढाई लाख रुपये तक थी।
CBDT ने ने अब फॉर्म 15H में संशोधन को लेकर अधिसूचना जारी कर दी है। यह संशोधन बजट में की गई घोषणा को अमल में लाने के लिए है। वर्ष 2019- 20 के बजट में पांच लाख रुपये तक की कर योग्य आय वाले व्यक्तिगत करदाताओं को कर से पूरी तरह छूट दी गई है। इसका लाभ तीन करोड़ मध्यम वर्ग के करदाताओं को मिलेगा।
CBDT के संशोधन में कहा गया है कि आयकर कानून 1961 की धारा 87A के तहत दी गई छूट को ध्यान में रखते हुए जिन करदाताओं की कर देनदारी शून्य है बैंक और वित्तीय संस्थान अब ऐसे करदाताओं से फॉर्म 15H स्वीकार कर सकते हैं। साठ साल से ऊपर आयु के वरिष्ठ नागरिकों को वित्त वर्ष की शुरुआत में फार्म 15H भरकर देना होता है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि उनकी ब्याज आय पर कोई कर कटौती नहीं की जा सके।
गौरतलब है कि 2019-20 के बजट में 5 लाख रुपये सालाना की आय रखने वालों को आयकर की धारा 87A के तहत कर छूट को 2,500 रुपये से बढ़ाकर 12,500 रुपये कर दिया गया था। इसमें 5 लाख रुपये तक की कर योग्य आय वाले कर देनदारी से मुक्त हो गए।
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