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Tuesday 30 April 2019

गंदे पानी को लेकर बीबीएयू में छात्रों का हंगामा, वॉटर कूलर तोड़ सड़क पर फेंके

लखनऊ। पूरे विश्व के लिये जल प्रदूषण एक बड़ा पर्यावरणीय और सामाजिक मुद्दा है। ये अपने चरम बिंदु पर पहुँच चुका है। मानव अस्तित्व के लिए पानी सबसे जरूरी है लेकिन, बाबासाहेब भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय लखनऊ जल प्रदूषण ने जूझ रहा है। इस केंद्रीय विद्यालय में पढ़ रहे छात्र गंदा पानी पीने को मजबूर हैं। छात्रों ने आरोप लगाया कि कई बार इस संबंध में वीसी को पत्र लिखा गया। परंतु कोई कार्रवाई ना होने के कारण मंगलवार को कई छात्रों ने जमकर हंगामा किया।बीबीएयू में छात्रों ने गंदा पानी आने के कारण जोरदार प्रदर्शन किया। इतना ही नहीं गन्दा पानी पीने को मजबूर बीबीयू के नाराज छात्रों ने कालेज में लगे सभी वाटर कूलर तोड़ डाले। आक्रोशित छात्रों ने सभी वॉटर कूलर सड़क के बाहर फेंक दिए। छात्रों ने बीबीएयू की सड़क जाम कर प्रदर्शन भी किया। छात्रों के आक्रोश की सूचना मिलते ही मौके पर भारी मात्रा में पुलिस बल पहुंची। नाराज छात्रों ने कॉलेज प्रशासन के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे भी लगाए। छात्रों का आरोप है कि इतनी प्रचंड गर्मी में पीने का पानी भी ठीक से नहीं मिल रहा है।कई छात्रों ने बताया कि गर्मी में पानी ही जीवन है फिर भी साफ पानी पीने को नहीं मिल रहा है। आये दिन कोई ना कोई छात्र बीमारी के चपेट में आ रहा है। छात्रों के मुताबिक, वॉटर कूलरों का पानी बिल्कुल पीने योग्य नहीं है। गंदे व दूषित पानी के कारण आंख, चेहरा, त्वचा, नाखून सब धीरे धीरे खराब हो रही है। दूषित पानी के कारण खुजली, दाद,आंखों की बीमारियां बढ़ने की सम्भावना है। गंदा पानी पीने के बाद भूख खत्म होने लगती है, सर दर्द तथा कमजोरी महसूस होने लगती है। दूषित जल पीने से पाचन शक्ति कमजोर होने लगती है पेट में ऐंठन होने लगती है जिससे दस्त लग जाते हैं फलस्वरूप डायरिया होने का भय सताते रहता है।

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