कानपुर। कानपुर सेंट्रल स्टेशन में तैनात तीन सिपाहियों को एडीजी रेलवे के आदेश पर निलंबित करते हुए मुकदमा दर्ज कराया गया है। आरोपी सिपाहियों ने नौ लोगों को लखनऊ के एक होटल से पकड़कर तीन लाख रुपये की वसूली की थी। फरवरी में हुए इस मामले में जांच के बाद मंगलवार को यह आदेश जारी करते हुए आरोपी सिपाहियों के खिलाफ विभागीय कार्यवाही शुरु कर दी गई है।
जानकारी के मुताबिक मामला लखनऊ के एक होटल से जुड़ा हुआ है। फरवरी माह में कानपुर सेंट्रल जीआरपी में तैनात सिपाही प्रदीप सिंह, राजेश सिंह और राकेश पांडेय होटल में दबिश देने पहुंचे थे। दबिश में उनके साथ मुखबिर जुम्मन भी गया था। जुम्मन की निशानदेही पर होटल के दो कमरों से नौ संदिग्ध लोगों को पकड़कर सिपाही कानपुर लेकर आ गए। कानपुर सेंट्रल स्थित जीआरपी के साथ ही किसी भी विभागीय अधिकारी को इसकी सूचना सिपाहियों द्वारा नहीं दी गई। यहां पर सेंट्रल स्टेशन के पास ही खाली पड़ी रेलवे कॉलोनी के एक कमरे में लखनऊ से पकड़े गये सभी लोगों को रखा गया। तीन दिन बाद सभी के परिजनों को बुलाकर इस मामले में तीन लाख रुपये की वसूली की गई। पुलिस की गिरफ्त से छूटने के बाद गुमनाम चिट्ठी भेजकर अपर पुलिस महानिदेशक (एडीजी) रेलवे से इसकी शिकायत की गई। गुमनाम चिट्ठी के आधार पर एडीजी रेलवे ने प्रकरण की जांच रेलवे क्षेत्राधिकारी राजेश द्विवेदी को बेहद गोपनीय तरीके से करने को दी। मंगलवार को सीओ रेलवे ने प्रकरण की जानकारी देते हुए बताया कि गोपनीय जांच में आरोप सही पाये गये। जिसके बाद एडीजी रेलवे को रिपोर्ट सौंपी गई। रिपोर्ट के आधार पर सिपाही प्रदीप सिंह, राजेश सिंह और राकेश पांडेय के खिलाफ जीआरपी के सेन्ट्रल स्टेशन में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। इसके साथ ही तीनों सिपाहियों को निलंबित करते हुए विभागीय कार्यवाही शुरु कर दी गई है।
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Tuesday 14 May 2019
सिपाहियों होटल से नौ लोगों को पकड़कर वसूले थे तीन लाख, हुये सस्पेन्ड, जांच चालू
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