जल्लीकट्टू आयोजन के निरीक्षण में सख्ती बढ़ी – वीआईपी मालिक का बैल वापस | Alienture हिन्दी

Breaking

Post Top Ad

X

Post Top Ad

Recommended Post Slide Out For Blogger

Monday, 18 February 2019

जल्लीकट्टू आयोजन के निरीक्षण में सख्ती बढ़ी – वीआईपी मालिक का बैल वापस

2000 बैलों में से केवल 700 बैल चयनित।
जलीकट्टू की खेल 21 मई तक चलेगी।
अब तक 18 जिलों में 36 आयोजन संपन्न।
10 खेलों के आयोजन नियम उलंघन निरस्त ।

चेन्नई (तमिलनाडु)। तमिलनाडु में जल्लीकट्टू का खेल मकर संक्रांति (पोंगल) के अवसर पर आरंभ होकर महीनों तक चलता है। भारत सरकार के पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के प्रतिनिधि- जल्लीकट्टू निरीक्षण समिति के प्रमुख, डॉ. एस. के. मित्तल ने बताया कि कोयंबतूर में आयोजित जलीकट्टू निरीक्षण कार्य को अत्यंत बारीकी से जांच परख कर आयोजित किया जा रहा है ताकि सरकार द्वारा निर्धारित निरीक्षण मापदंडों के अनुसार उसका भली प्रकार परिपालन किया जा सके। उन्होंने बताया कि कल कोयंबटूर के आयोजन में निरीक्षण के दौरान एक वीआईपी मालिक के बैल को इस नाते वापस कर दिया गया जब प्रतिभागी बैल खेल के तमाम मापदंडों को पूरा करने में फेल हो गया। डॉक्टर मित्तल ने यह भी कहा कि तमिलनाडु सरकार प्रतिभागी बैलों की सुरक्षा के लिए बहुत ही गंभीर है। इसलिए आयोजन के दौरान अक्सर कोई न कोई मंत्री अवश्य मौजूद होता है।

डॉक्टर मित्तल ने तरुण मित्र को बताया कोयंबटूर के आयोजन में म्युनिसिपल एडमिनिस्ट्रेशन मिनिस्टर यस.पी. वेलुमनी उपस्थित रहे और स्वयं निरीक्षण कार्य को अपने सामनेसंपन्न कराया। डॉक्टर मित्तल ने बताया कि इस वर्ष अब तक 18 जिलों में 36 जल्लीकट्टू खेलों का आयोजन किया जा चुका है। राज्य में 30 दिनों से अधिक समय लगा कर वह अभी तक के सभी कार्यक्रमों में 10 आदमियों की निरीक्षण एक टीम लेकर स्वयं निरीक्षण कार्य की अगुवाई कर रहे हैं। हर आयोजन में सैकड़ों की संख्या में उन्नत नस्ल के सांड एवं अनुभवी बैल पकड़ने वाले खिलाड़ियों ने भाग लिया। उन्होंने बताया कि इस खेल का आयोजन मदुरै, पुद्कोटई, सेलम, करुर, इरोड, वेलोर, कृष्णागिरी, डिंडगल, थेनी, विरुध्नगर, पेराम्बलुर तिरचिरापल्ली, अरियालुर, नामाकल, तिरपुर, कोयम्ब्टर शिवगंगा, तंजावुर आदि जनपदों में आयोजित किए जा चुके हैं। यह खेल इस वर्ष 31 मई के आखिर तक चलेगी। उस समय कुल आयोजनों की संख्या 350- 400 से भी अधिक हो जाएगी।

डॉक्टर मित्तल ने बताया कि निरक्षण समिति खेल के एक दिन पहले संपूर्ण इंतजाम का बड़े बारीकी से जांच- परख करता है और किसी भी प्रकार की कमी पाए जाने पर उसे नियमानुसार सुधार करने के लिए आदेश दिए जाते हैं। डॉक्टर मित्तल ने बताया कि इस साल पिछले वर्ष के तुलना में कॉफी शख्ती वरती जा रही है। उन्होंने खुशहाली व्यक्ति की कि इस कार्य से संवैधानिक गरिमा को न केवल बनाए रखा गया है बल्कि पशु और मनुष्य की सुरक्षा-व्यवस्था का लाभ आम आदमी को मिल रहा है।

निरीक्षण समिति की एक तेजतर्रार सदस्य कल्पना वासुदेवन के अनुसार विवादित एवं असंतोषजनक निरीक्षण रिपोर्ट पाए जाने की स्थिति में जल्लीकट्टू का आयोजन निरस्त कर दिया जाता है। कई बार इस तरह की घटनाएं सामने आई है और वहां का कार्यक्रम निरस्त कर दिया गया है। जहां कहीं भी बैलों के ऊपर क्रूरता की घटना पकड़ी गई है, तत्काल आयोजकों के ऊपर कार्यवाही की गई है। उन्होंने बताया कि अब तक 10 लोगों के ऊपर केस दर्ज किया जा चुका है। साथ ही साथ वहां के कार्यक्रम भी रद्द किए जा चुके हैं। यही कारण है कि कल आयोजित होने वाले कोयंबटूर के कार्यक्रम में 2000 बालों में से कोई 700 बैलों को अनुमति दी गई।

No comments:

Post a Comment

Post Top Ad