मुंबई- वित्त आयोग के अध्यक्ष एन के सिंह ने अन्य राज्यों से महाराष्ट्र खासकर मुंबई में स्थानांतरित हुए लोगों को लेकर चिंता जताई है। उन्होंने कहा है कि मुंबई में स्थनांतरित हुए लोगों की समस्याओं पर आयोग विचार करेगा।
बुधवार को प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए आयोग के अध्यक्ष एनके सिंह ने बताया कि अन्य राज्यों से आने वाले नागरिकों का प्रश्न बेहद अहम है। तमिलनाडु, केरल जैसे राज्यों में भी यह प्रश्न गंभीर बना हुआ है। स्थनांतर के कारण मूलभूत सुविधाएं तथा स्वास्थ्य सुविधाओं पर काफी बोझ पड़ता है। इस कारण मुंबई में स्थानांतरित हुए लोगों की समस्या पर आयोग विचार करेगा। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र की आर्थिक स्थिति मजबूत होने के कारण यह राज्य देश का “ग्रोथ इंजन” है। महाराष्ट्र सरकार ने ट्रिलियन डॉलर इकोनामी का लक्ष्य पूरा करने के लिए विस्तृत प्रस्ताव दिया है।
पंद्रहवें वित्त आयोग का एक प्रतिनिधिमंडल तीन दिवसीय महाराष्ट्र दौरे पर आया हुआ है। बीते दो दिनों से आयोग के सदस्यों ने राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि, ग्राम पंचायत, पंचायत समिति और नगरपालिका के विभिन्न प्रतिनिधियों से चर्चा की। आयोग ने मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस सहित राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ भी वार्तालाप किया। मुंबई में आने से पहले आयोग ने पुणे शहर में अर्थशास्त्र के कई विशेषज्ञों से भी चर्चा की थी। सिंह के मुताबिक विशेषज्ञों की सूचनाओं का समावेश भी आयोग अपनी रिपोर्ट में करेगा। महाराष्ट्र सरकार ने राज्य की आर्थिक और मूलभूत सुविधाओं की प्रगति का महत्वपूर्ण और विस्तृत प्रस्ताव आयोग के समक्ष रखा है। आयोग इस पर सकारात्मक विचार करेगा।
मुंबई को महाराष्ट्र के साथ ही देश का आर्थिक विकास केंद्र बताते हुए सिंह ने कहा कि राज्य में मानव विकास निर्देशांक भी प्रगति पथ पर है। अन्य राज्यों की तुलना में महाराष्ट्र का विकास दर बढ़ रही है। विभागीय संतुलन को बनाए रखने के आयोग को कुछ सूत्र सुनिश्चित करने हैं। केंद्र सरकार द्वारा आर्थिक सहायता दिए जाने वाली योजनाओं के लिए निधि वितरण के काम का पुनर्गठन करने की संभावना पर भी विचार किया जाएगा। सिंह ने कहा कि महाराष्ट्र प्रगति पथ पर है और राज्य की आर्थिक स्थिति मजबूत है। महाराष्ट्र आज की स्थिति मे गुजरात, तमिलनाडु और कर्नाटक जैसे राज्यों से आगे हैं। अन्य राज्यों को महाराष्ट्र अनुकरण करना चाहिए।
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